छत्तीसगढ़दुर्ग भिलाई

बस्तियों की बेहतर व्यवस्था के लिए महापौर-आयुक्त ने दिया निर्देश

दुर्ग – क्षेत्र में बस्तियों की व्यवस्था को बेहतर बनाने शनिवार को बैठक लेकर महापौर ने निगम के अधिकारियों व कर्मचारियों को अलर्ट मोड में रहने निर्देेेशित किया शनिवार को डाटा सेंटर के सभागार में आगामी मानसून में संभावित प्राकृतिक आपदा से बचाव एवं राहत व्यवस्था के संबंध मे महापौर धीरज बाकलीवाल एवं प्रभारी आयुक्त आशीष देवांगन ने लोक कर्म प्रभारी अब्दुल गनी,जलकार्य प्रभारी संजय कोहले की मौजूदगी में अधिकारी व कर्मचारियों को अलग-अलग जिम्मेदारियां सौंपी है।

नियंत्रण कक्ष बना,बनाये गए नोडल अधिकारी –

मानसून के दौरान संभावित प्राकृतिक आपदा को ध्यान में रखते हुए दुर्ग निगम कार्यालय में बाढ़ नियंत्रण कक्ष स्थापित किया गया है। नियंत्रण कक्ष का दूरभाष क्रमांक 0788 2322148 है। यह नियंत्रण कक्ष 24 घंटे कार्य करेगा। उपरोक्त सम्पूर्ण कार्यो की मॉनिटरिंग,व्यवस्था एवं कार्यो के संपादन हेतु सहायक अभियंता एस. डी. शर्मा दूरभाष 9826128506 नोडल अधिकारी बनाये गए है।

24 घण्टे फोन चालू रखने कर्मचारियों को आयुक्त का निर्देश- 

महापौर धीरज बाकलीवाल एवं प्रभारी आयुक्त आशीष देवांगन ने निर्देश दिये हैं, कि शहर के पहुंच विहीन क्षेत्रों में जहां बाढ़ की स्थिति में पहुंचना संभव नहीं होगा, वहां पर्याप्त मात्रा में खाद्य, जीवन रक्षक दवाईयॉं आदि नियमानुसार संग्रहित करेंगे। उन्होंने कहा कि पेयजल की शुद्धता एवं स्वच्छता को दृष्टिगत रखते हुए हैण्डपम्प आदि में ब्लीचिंग पाउडर आदि की व्यवस्था सुनिश्चित की जावे, ताकि शुद्ध पेयजल उपलब्ध हो। ऐसे क्षेत्रों की पहचान कर ली जावे जहां प्रतिवर्ष बाढ़ की संभावना रहती है। जल भराव वाले क्षेत्रों के नालियों की सफाई पर जोर डाले निरन्तर गैंग लगावकर स्लम व शहर क्षेत्र में ऐसे इलाके जहां हर साल जल भराव की स्थिति निर्मित होती है वहां के नाले व नालियों की सफाई कराने व बारिश के पानी को नदी में छोड़ने योजना बनाने कहा गया। महापौर ने कहा कि अधिकारी-कर्मचारी लगातार पार्षदों से संपर्क बनाए रखेंगे,अपना फोन 24 घण्टे चालू रखेंगे फोन स्विचऑफ नहीं रखेंगे।उन्होंने ये भी कहा कि सकरी नाला,नालो के तटीय क्षेत्रों में सतत निगरानी रखी जावे, ताकि आवश्यकता पड़ने पर सुरक्षित स्थानों पर शीघ्रता से पहुंचाने व ठहराने एवं खाने पीने की व्यवस्था की जा सके। प्रभारी आयुक्त देवांगन ने कहा अस्थाई कैम्प हेतु सुरक्षित शासकीय एवं अशासकीय भवनों, धर्मशालाओं, स्कूलों आदि को चिन्हित कर लिया जायें।बाढ़ से बचाव संबंधी जो उपकरण जिले में उपलब्ध है यथा तैराक, मोटर बोट, लाइफ जैकेट, मेगाफोन, तारपोलीन, दस्ताने, ड्रम, बोल्ट कटर, रस्सी, सर्च लाईट, ट्रक के ट्यूब्स आदि की दुरूस्ती कराकर उपयोग हेतु तैयार रखें, ताकि आवश्यकता पड़ने पर त्वरित उपयोग में लाया जा सके। प्रभारी आयुक्त देवांगन ने कहा विद्युत व्यवस्था बनाए रखें निरन्तर मॉनिटरिंग करते रहें देखें कही दुघर्टना की संभवना न हो क्षेत्र के सभी विद्युत पोल को चेक करते रहें।

स्लम बस्तियों में विशेषरूप से करें मॉनिटरिंग-
महापौर ने कहा स्लम क्षेत्र में बाढ़ की स्थिति निर्मित न हो इस हेतु यह सुनिश्चित किया जायें, कि शहर के सभी नाले व नालियों की सफाई सतत् होती रहे। नालो एवं नालियों से जलाशयों से नियमित रूप से जल निकासी आसानी से हो सके, ताकि बाढ़ की स्थिति को और बिगड़ने से रोका जा सके।इस मौके पर उपायुक्त मोनेन्द्र साहू ,कार्यपालन अभियंता राजेश पांडेय,सहायक अभियंता आर के जैन,नोडल अधिकारी एस.डी. शर्मा, भवन अधिकारी प्रकाश चंद थावनी, सहायक अभियंता आरके पालिया,स्वास्थ्य अधिकारी गिरीश दिवान,भीम राव,स्वेता महलवार,आसमा डहरिया,पंकज साहू,विकास दमाहे,करण साहू,अनिल सिंह,शुभम गोइर समेत अन्य मौजूद थे।

 

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